
इस्लामाबाद-नई दिल्ली: पाकिस्तान के विवादास्पद मौलाना अब्दुल, जो अपने कट्टरपंथी विचारों और भारत विरोधी भाषणों के लिए कुख्यात थे, अब इस दुनिया में नहीं रहे। उनके निधन की खबर ने दोनों देशों में अलग-अलग प्रतिक्रियाएं उत्पन्न की हैं।
मौलाना अब्दुल भारत के खिलाफ दिए गए उग्र भाषणों के लिए पहचाने जाते थे। उन्होंने कई बार भारतीय सेना और हिंदू समुदाय के विरुद्ध हिंसक और अपमानजनक टिप्पणियाँ की थीं। माना जा रहा है कि उनका निधन स्वास्थ्य समस्याओं के चलते हुआ है, लेकिन इसकी आधिकारिक पुष्टि अब तक नहीं हुई है।
पाकिस्तान के कुछ कट्टरपंथी समूह उन्हें “शहीद” करार दे रहे हैं, जबकि भारत में सोशल मीडिया पर इसे नफरत फैलाने वाली सोच के अंत के रूप में देखा जा रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि मौलाना अब्दुल जैसे लोगों की विचारधारा केवल दोनों देशों के रिश्तों को बिगाड़ती है और आतंकवाद को वैचारिक समर्थन देती है।